
धीरज शर्मा।।पंचकेदार में शामिल द्वितीय केदार भगवान मध्यमेश्वर और चतुर्थ केदार भगवान रुद्रनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली मंगलवार को शीतकालीन गद्दी स्थलों से उच्च हिमालय स्थित अपने-अपने धाम के लिए रवाना हुईं।मध्यमेश्वर धाम के कपाट 19 मई को कर्क लग्न में सुबह 11 बजे और रुद्रनाथ धाम के कपाट इसी दिन सुबह पांच बजे श्रद्धालुओं के दर्शनार्थ खोल दिए जाएंगे।उत्तरकाशी के जिलाधिकारी अभिषेक रूहेला ने होटल एसोसिएशन के पदाधिकारियों के साथ बैठक की। इसमें जिलाधिकारी अभिषेक रूहेला ने कहा कि जिन यात्रियों ने तीन मई से पहले उत्तरकाशी के स्थानीय होटलों में एडवांस बुकिंग की होगी। उन्हें पंजीकरण के नाम पर नहीं रोका जाएगा। तीर्थ यात्रियों की ओर से बार्डर पर होटल की बुकिंग संबंधी कागजात दिखाने के बाद जनपद में प्रवेश दिया जाए।।जिन श्रद्धालुओं के पास स्मार्ट फोन नहीं हैं, उनको आफलाइन पंजीकरण में वरीयता दी जा रही है। उपजिलाधिकारी शैलेंद्र सिंह नेगी ने बताया कि पंजीकरण काउंटर की लाइन में उन श्रद्धालुओं को प्राथमिकता दी जा रही है जिनके पास स्मार्टफोन नहीं है।इस बात की समय-समय पर मुनादी भी कराई जा रही है। जिन स्मार्ट फोन धारकों को पंजीकरण करना नहीं आ रहा है उनकी सहायता को कर्मचारी तैनात किए गए हैं।चार धाम यात्रा पर आने की योजना बनाने वाले श्रद्धालुओं के लिए धामों में दर्शन का इंतजार बढता जा रहा है। इस बार बगैर पंजीकरण के चारधाम यात्रा पर आने की अनुमति नहीं है। भीड प्रबंधन के लिए सरकार ने सभी धामों में दर्शनों के लिए श्रद्धालुओं की संख्या निर्धारित की हुई है। इसी अनुरूप दर्शनों के लिए स्लाट आवंटन किया जा रहा है। यमुनोत्री धाम के लिए सात जून और केदारनाथ धाम के लिए एक जून तक सभी स्लाट बुक हो चुके हैं।